भोपाल. मध्यप्रदेश में आदिवासी वोट बैंक पर एक बार फिर सियासत गरमा गई है। आदिवासियों को साधने के लिए बीजेपी और कांग्रेस ने अपने-अपने दांव खेला है। धार के मांडू में चल रहे प्रशिक्षण वर्ग में प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने बीजेपी को ही आदिवासियों की सच्ची हितैषी बताया। इस पर पूर्व CM और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने पलटवार किया है। वे बोले- बीजेपी कितना भी झूठ परोस लें, यह वर्ग (आदिवासी) गुमराह होने वाला नहीं है। प्रदेश में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले बीजेपी और कांग्रेस दोनों का ही फोकस आदिवासी वोट बैंक को लेकर बढ़ा है। खासकर बीजेपी पिछले एक साल से आदिवासियों को लेकर ज्यादा एक्टिव नजर आ रही है। चाहे PM नरेंद्र मोदी हों या गृहमंत्री और बीजेपी के मुख्य रणनीतिकार अमित शाह का भोपाल दौरा। वे आदिवासी केंद्रित ही रहे। वहीं, अगले एक साल में बीजेपी ने आदिवासी वर्ग को जोड़ने के लिए कई प्रोग्राम बना लिए हैं। आदिवासियों को लेकर एक बार फिर बीजेपी का फोकस सामने आया है। आदिवासी बाहुल्य धार जिले के मांडू में बीजेपी का 3 दिन का प्रशिक्षण वर्ग चल रहा है। इसमें केंद्र से लेकर प्रदेश की राजनीति से जुड़े बीजेपी के तमाम बड़े नेता शामिल हो रहे हैं। इसमें आदिवासी का मुद्दा भी उठ चुका है।मांडू के प्रशिक्षण वर्ग में बीजेपी प्रदेशाध्यक्ष शर्मा ने कहा कि समाज को तोड़ने वाली ताकतों से मध्यप्रदेश भी अछूता नहीं है। आदिवासियों में कुछ लोगों ने सामाजिक संगठन का रूप लेकर जनजाति समाज को भ्रमित करने का काम कर रहे हैं। वहीं, कमलनाथ ने कहा कि जयस का डीएनए कांग्रेस का है। उनके इस कथन से हम समझ सकते हैं कि समाज को तोड़ने के पीछे किन लोगों का हाथ है। आज भाजपा को पिछड़ा और जनजाति विरोधी बनाने का विमर्श खड़ा किया गया है, लेकिन बीजेपी ही सच्चे अर्थों में पिछड़ा वर्ग और जनजाति वर्ग की हितैषी है। पिछड़ा वर्ग को आरक्षण देकर उनके अधिकार संपन्न बनाया तो, वहीं राष्ट्रीय जनजाति गौरव दिवस मनाकर जनजाति समाज के उत्थान और उन्हें गौरव प्रदान करने का काम किया है।
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