मुंबई (Edited By- Sandeep Agarwal): 10 साल पुराने जिया खान सुसाइड मामले में सीबीआई ने आरोपी सूरज पंचोली को बरी कर दिया है। सीबीआई की विशेष अदालत के न्यायाधीश एएस सैय्यद ने कहा कि सबूतों की कमी के कारण ये अदालत सूरज पंचोली को दोषी नहीं ठहरा सकती, इसलिए उन्हें बरी किया जाता है।
सूरज पंचोली को खुदकुशी के लिए उकसाने के आरोप से बरी होने पर जिया खान की मां राबिया खान ने कहा कि आरोपी को बरी कर दिया गया है, लेकिन सवाल ये है कि आखिर मेरी बेटी कैसे मरी? ये हत्या का मामला है, न्याय के लिए मैं हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाउंगी।
न्याय के लिए 10 साल तक का इंतजार किया: राबिया खान
बता दें कि 3 जून 2013 को जिया को उनकी मां राबिया खान ने मुंबई के जुहू इलाके में अपने घर की छत से लटका पाया था। मामले में फैसले से पहले राबिया ने कहा था कि उन्होंने न्याय के लिए 10 साल तक का इंतजार किया है। अब फैसला देना अदालत पर निर्भर है। जिया खान सुसाइड केस में अभिनेता सूरज पंचोली आज सुबह अपनी मां जरीना वहाब के साथ मुंबई कोर्ट पहुंचे थे। जज ने सूरज पंचोली के वकील को बताया कि मृतका जिया खान की मां राबिया खान कुछ लिखित दलीलें दाखिल करना चाहती हैं, जिसके बाद दोपहर 12 बजे तक मामले में फैसला रोक दिया गया था।
जिया के घर में पाया गया था 6 पेज का सुसाइड नोट
जिया खान के तत्कालीन बॉयफ्रेंड बॉलीवुड एक्टर सूरज पंचोली को जुहू पुलिस ने आत्महत्या के लिए उकसाने के आरोप में गिरफ्तार किया था। आत्महत्या के दौरान जिया के घर में 6 पन्नों का एक पत्र पाया गया था जिसे कथित तौर पर जिया ने लिखा था। कहा जाता है कि सुसाइड नोट में उनके बीच चल रही अनबन को लिखा गया था। सुसाइड नोट को जिया की मां ने सूरज के खिलाफ सबूतों का एक टुकड़ा बताया था।
ऐसे सीबीआई को ट्रांसफर हुआ था केस
मामले की जांच के दौरान जिया की मां राबिया खान ने पड़ताल में खामियों का भी आरोप लगाया था और मामले को CBI को स्थानांतरित करने की मांग की थी। राबिया की सुनवाई के बाद बॉम्बे हाई कोर्ट ने केस सीबीआई को ट्रांसफर कर दिया था। हालांकि, सीबीआई ने भी निष्कर्ष निकाला कि यह हत्या का मामला नहीं था, जैसा कि राबिया की ओर से आरोप लगाया जा रहा था। जांच में पाया गया कि ये आत्महत्या के लिए उकसाने का मामला था।
जिया खान सुसाइड केस में कब क्या हुआ?
3 जून 2013 को जिया खान की लाश मुंबई की सागर संगीत सोसाइटी के फ्लैट नंबर 102 में मिली थी। 7 जून 2013 को मुंबई पुलिस ने जिया के घर से छह पेज का सुसाइड नोट बरामद किया था। 10 जून 2013 को सूरज पंचोली को जुहू पुलिस ने जिया को आत्महत्या के लिए उकसाने के आरोप में गिरफ्तार किया था। 2 जुलाई 2013 को बॉम्बे हाई कोर्ट ने सूरज पंचोली को जमानत दे दी और 22 दिन जेल में बिताने के बाद उन्हें जमानत पर छोड़ दिया गया। अक्टूबर 2013 में जिया की मां राबिया खान CBI जांच की मांग को लेकर बॉम्बे हाई कोर्ट चली गईं। जुलाई 2014 में केस CBI को सौंप दिया गया था। 2015 में सीबीआई ने कोर्ट में पेश की रिपोर्ट। दिसंबर 2015 में CBI ने कोर्ट के सामने एक रिपोर्ट पेश की और मामले को आत्महत्या के लिए उकसाने का करार दिया। कुछ दिनों बाद राबिया ने मामले की जांच के लिए एसआईटी गठित करने की मांग की। फरवरी 2017 में हाईकोर्ट ने SIT के गठन की मांग खारिज कर दी थी। ट्रायल कोर्ट ने राबिया की 2018 में आगे की जांच की मांग को भी खारिज कर दिया। 15 मार्च 2019 को जिया खान केस में ट्रायल शुरू हुआ। साल 2021 में मामला सीबीआई की विशेष अदालत को सौंप दिया गया क्योंकि सत्र अदालत ने कहा कि सीबीआई मामले का अधिकार क्षेत्र सत्र अदालत के पास नहीं है। 21 मार्च 2023 को सरकार की ओर से 21 गवाहों के बयान पर केस बंद कर दिया गया। 20 अप्रैल 2023 को दोनों पक्षों ने अपनी अंतिम दलीलें पेश कीं जिसके बाद अदालत ने फैसला सुनाने के लिए 28 अप्रैल की तारीख तय की।
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