प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मन की बात करते हुए शहीदों के सम्मान में 'मेरी माटी मेरा देश' अभियान चलाने की घोषणा की। पीएम मोदी ने 30 जुलाई रविवार को कहा कि देश में अमृत महोत्सव की गूंज है, 15 अगस्त पास ही है। शहीद वीर-वीरांगनाओं को सम्मान देने के लिए 'मेरी माटी मेरा देश' अभियान शुरू होगा।
पीएम मोदी ने कहा कि इसके तहत देश-भर में हमारे शहीदों की याद में अनेक कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इन विभूतियों की याद में, देश की लाखों ग्राम पंचायतों में विशेष शिलालेख भी स्थापित किए जाएंगे।
पीएम मोदी ने कहा कि पिछले साल स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर 'हर घर तिरंगा अभियान' के लिए जैसे पूरा देश एक साथ आया था। वैसे ही हमें इस बार भी फिर से हर घर तिरंगा फहराना है और इस परंपरा को लगातार आगे बढ़ाना है।
पीएम मोदी ने कहा कि इस अभियान के तहत देश-भर में 'अमृत कलश यात्रा' भी निकाली जाएगी। देश के गाँव-गाँव से, कोने-कोने से 7500 कलशों में मिट्टी लेकर ये यात्रा देश की राजधानी दिल्ली पहुचेंगी। ये यात्रा अपने साथ देश के अलग-अलग हिस्सों से पौधे लेकर भी आएगी। 7500 कलश में आई मिट्टी और पौधों से नेशनल वॉर मेमोरियल के पास अमृत वाटिका बनाई जाएगी।
पीएम मोदी ने कहा कि इस समय सावन का महीना चल रहा है। महादेव की आराधना के साथ सावन हरियाली और खुशहाली से जुड़ा होता है। इसका बहुत महत्व रहा है। सावन के झूले, सावन की मेंहदी, सावन के उत्सव। सावन का मतलब ही आनंद और उल्लास है।
पीएम मोदी ने कहा कि इस आस्था और परंपराओं का एक पक्ष और भी है। ये हमें गतिशील बनाते हैं। शिव अराधना के लिए कितने ही भक्त कांवड़ यात्रा पर निकलते हैं। 12 ज्योतिर्लिंगों पर भी श्रद्धालु पहुंच रहे हैं। बनारस पहुंचने वाले लोगों की संख्या रिकॉर्ड तोड़ रही है। हर साल वहां 10 करोड़ से ज्यादा पर्यटक पहुंच रहे हैं। अयोध्या, मथुरा और उज्जैन पहुंचने वालों की संख्या भी बढ़ रही है।'
पीएम मोदी ने कहा कि अभी 50 हजार से ज्यादा अमृत सरोवर बनाने का काम चल रहा है। देशवासी पूरी जागरुकता और जिम्मेदारी के साथ जल संरक्षण के लिए प्रयास कर रहे हैं।
उत्तर प्रदेश में एक दिन में 30 करोड़ पेड़ लगाने का रिकॉर्ड बनाया गया है। राज्य सरकार ने अभियान की शुरुआत की और लोगों ने इसे पूरा किया। ऐसे प्रयास जनभागीदारी के साथ जन जागरण के बड़े उदाहरण हैं। हम सब भी पेड़ लगाने और पानी बचाने के प्रयासों का हिस्सा बनें।
पीएम मोदी ने कहा कि 'कुछ समय पहले मैं मध्य प्रदेश के शहडोल गया था। वहां आदिवासी भाइयों से मुलाकात हुई। पकरिया गांव के आदिवासियों ने प्रकृति और जल संरक्षण के लिए काम कर दिया है। 100 कुओं को वाटर रिचार्ज सिस्टम में बदल दिया है। बारिश का पानी इन कुओं में जाता है और वहां से जमीन में। सभी गांववालों ने 800 कुओ रिचार्ज के लिए उपयोग में लाने का लक्ष्य बनाया है।
All Rights Reserved & Copyright © 2015 By HP NEWS. Powered by Ui Systems Pvt. Ltd.