बदलते मौसम के साथ लोगों में आंखों के संक्रमण देखने को मिल रहा है। इस संक्रमण का प्रकोप तेजी से हर उम्र के लोगो मे फैल रहा है। एक परिवार के कई सदस्य या फिर ऑफिस में साथ काम करने वाले लोगो को यह संक्रमण हो रहा है। इसको लेकर जिला कलक्टर अनिल कुमार अग्रवाल ने चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के साथ बैठक कर आवश्यक दिशा निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि आमजन में आई फ्लू के लक्षण, बचाव तथा उपचार के लिए व्यापक प्रचार प्रसार किया जाना सुनिश्चित करे। ग्राम स्तर तक आशा सहयोगिनी के माध्यम से जागरूकता पैम्फलेट वितरित करवाने के निर्देश दिए। उन्होंने विभागीय अधिकारियों से आमजन को जागरूक करने के लिए एडवाइजरी जारी करने के निर्देश दिए। बैठक के दौरान मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ जयंती लाल मीणा, प्रमुख चिकित्सा अधिकारी डॉ. समरवीर सिंह सिकरवार, उप मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ चेतराम मीणा, नेत्र रोग विशेषज्ञ डॉ. अरुण शर्मा सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ जयंती लाल मीणा ने बताया कि बदलते मौसम में विशेषकर बारिश में आंखों में इस प्रकार का संक्रमण होने की सम्भावना रहती है। कुछ छोटी छोटी चीजों का ख्याल रखकर आई फ्लू से बचा जा सकता है। उन्होंने बताया कि अगर लक्षणों पर गौर करे तो आई फ्लू होने से आंखो में सूजन, दर्द रहता है, आंखे लाल हो जाती है। आंखों में पानी, पीले रंग का पीप आता है जिससे आंखो की पलके चिपक जाती है। कई बार यह सिर्फ एक आंख या फिर एक के बाद दूसरी आंख में या फिर दोनों आंखों में एक साथ अचानक से होता है और मरीज़ को लगातार आंखों में चुभता रहता है। लाइट में आंख नही खोल पता है और सिर में दर्द भी हो सकता है। बच्चों में आई फ्लू के साथ बुखार भी आ सकता है।
डॉक्टर्स के अनुसार आई फ्लू एक प्रकार का संक्रमण रोग है जो बैक्टीरिया या वायरस से होता है। आई फ्लू से संक्रमित होने पर कुछ सावधानियां बरतना जरूरी है।नियमित रूप से अपने हाथ साबुन और पानी, सेनेटाइजर से धोएं। संक्रमण को बढ़ने से रोकने के लिए अपनी आँखों को रगड़ने से बचें।
आंखों को बार बार छूने से बचे।
आई फ्लू का इलाज अपनी आंखों को साफ तौलिए से साफ करें, अपनी आँखों को आराम दें और स्क्रीन पर बिताया जाने वाला समय कम से कम करें। धुएँ और जलन पैदा करने वाले पदार्थों के संपर्क में आना कम से कम करें।
काले चश्मे का इस्तेमाल करें। कॉन्टेक्ट लेंस का प्रयोग ना करें। अपने आप से दवा लेकर ना डाले बल्कि चिकित्सक से सलाह लें। आंखों में धुंधलापन और किसी प्रकार की परेशानी होने पर तुरंत नेत्र चिकित्सक से सलाह लें।
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