चेन्नई: भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान मद्रास (IIT Madras) ने भारत की पहली 'पहियों पर चिकित्सा उपकरण जांच सुविधा' लॉन्च की है. इसे आईआईटी मद्रास ने अपनी 'अनैवरुक्कम आईआईटीएम' (Anaivarukkum IITM) पहल के तहत विकसित किया है. प्रोफेसर वी. कामकोटि निदेशक आईआईटी मद्रास ने प्रोफेसर आर. सारथी, डीन (योजना), प्रोफेसर एम. अनबरसु (प्रमुख, सीईसी), प्रोफेसर एस. रामकृष्णन, फैकल्टी और छात्रों की उपस्थिति में संस्थान परिसर में इस सुविधा का शुभारंभ किया.
इस पहल के महत्व पर प्रकाश डालते हुए प्रोफेसर वी. कामकोटि निदेशक आईआईटी मद्रास ने कहा, 'उचित निदान और उपचार बेहद महत्वपूर्ण हैं और इसके लिए चिकित्सा उपकरणों को सटीक और बार-बार कैलिब्रेट करने की आवश्यकता है. रोगियों का सटीक निदान और उपचार सुनिश्चित करने के लिए नियमित आधार पर चिकित्सा उपकरणों की जांच आवश्यक है.
उपकरणों की जांच की बढ़ती लागत के साथ यह प्रयास न केवल जांच प्रक्रिया की लागत को कम करता है बल्कि परिवहन लागत और आवश्यक समय को भी कम करता है. यह सभी के लिए सस्ती, गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य देखभाल की दिशा में एक प्रगतिशील कदम है. स्वास्थ्य सेवा वितरण के लिए जीवन रक्षक चिकित्सा उपकरणों का रखरखाव और गुणवत्ता आश्वासन अत्यंत महत्वपूर्ण है.
उपकरणों की जांच महत्वपूर्ण है क्योंकि यह सटीक रोग निदान और प्रभावशीलता के लिए चिकित्सा उपकरणों की सटीकता सुनिश्चित करता है. यह सुविधा भारत में अपनी तरह की पहली सुविधा है और एक किफायती गुणवत्ता अंशांकन सुविधा प्रदान करने और सटीक रोग निदान और उपचार को सक्षम करने के लिए तैयार है.
यह मोबाइल सुविधा पूरे देश में भौगोलिक स्थानों के बावजूद व्यापक गुणवत्ता वाली स्वास्थ्य देखभाल सुनिश्चित करेगी. इससे गांवों सहित विभिन्न प्रकार के अस्पतालों में उपयोग किए जाने वाले चिकित्सा उपकरणों का उनके दरवाजे पर परीक्षण और रखरखाव करने में मदद मिलेगी. यह पहल संयुक्त राष्ट्रीय सतत विकास लक्ष्य 3 को बढ़ावा देती है, जो सभी के लिए स्वास्थ्य और कल्याण का आह्वान करता है. इस मोबाइल यूनिट में उपलब्ध बुनियादी ढांचे में अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार चिकित्सा उपकरणों की सुरक्षा और उनकी कार्यक्षमता का परीक्षण करने के लिए अत्याधुनिक उपकरण शामिल हैं.
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