आपात स्थिति में सभी नेटवर्क अपने कब्जे में लेगी सरकार, कंपनियों का कंट्रोल होगा खत्म - telecommunications act 2023

 दूरसंचार अधिनियम 2023 के लागू होने के बाद केंद्र सरकार आपात स्थिति में दूरसंचार सेवा या नेटवर्क को अपने नियंत्रण में ले सकेगी. बता दें कि दूरसंचार अधिनियम 26 जून से प्रभावी होगा. दूरसंचार अधिनियम के लागू होने के बाद 26 जून से धारा 1,2,10 और 30 सहित अन्य प्रावधान लागू हो जाएंगे. राजपत्र अधिसूचना के मुताबिक केंद्र सरकार 26 जून 2024 से इस अधिनियम की धारा 1,2,10 से 30, 42 से 44, 46, 47, 50 से 58, 61 और 62 के प्रावधान लागू होंगे. अधिसूचना के अनुसार, सरकार सुरक्षा, सार्वजनिक व्यवस्था या अपराधों की रोकथाम के आधार पर दूरसंचार सेवाओं का नियंत्रण अपने हाथ में ले सकती है.

26 जून से प्रभावी होने वाले अधिनियम की धारा 20 में कहा गया है कि आपदा प्रबंधन सहित किसी भी सार्वजनिक आपातकाल की स्थिति में, या सार्वजनिक सुरक्षा के हित में, केंद्र सरकार या राज्य सरकार या केंद्र सरकार या राज्य सरकार द्वारा इस संबंध में विशेष रूप से अधिकृत कोई अधिकारी किसी अधिकृत इकाई से किसी भी दूरसंचार सेवा या दूरसंचार नेटवर्क का अस्थायी कब्ज़ा ले सकता है. अधिनियम के अनुसार, कोई भी दूरसंचार कम्पनी जो दूरसंचार नेटवर्क स्थापित या संचालित करना चाहती है, सेवाएं प्रदान करना चाहती है या दूरसंचार उपकरण रखना चाहती है, उसे सरकार से अधिकृत होना होगा.

अधिनियम के नियम लागू होने के बाद, यूनिवर्सल सर्विस ऑब्लिगेशन फंड डिजिटल भारत निधि बन जाएगा, जिसका इस्तेमाल केवल ग्रामीण क्षेत्रों में दूरसंचार सेवाओं की स्थापना का समर्थन करने के बजाय अनुसंधान और विकास और पायलट परियोजनाओं के वित्तपोषण के लिए किया जा सकता है.

 राज्यसभा में गुरुवार को दूरसंचार विधेयक 2023 ध्वनि मत से पारित कर दिया गया. बिल में कहा गया है कि मोबाइल के जरिए फ्रॉड करने वाले शरारती तत्वों को 3 साल की जेल और 50 लाख रुपए तक का जुर्माना हो सकता है. विधेयक पर चर्चा के दौरान केंद्रीय संचार मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि देश में ब्रॉडबैंड इंटरनेट यूजर्स की संख्या बढ़कर 85 करोड़ हो गई है. जबकि, पहले देश में मात्र डेढ़ करोड़ ब्रॉडबैंड इंटरनेट यूजर्स थे. कुछ ऐसे लोग भी हैं जो मोबाइल फोन दुरुपयोग करके फ्रॉड करते हैं. ऐसे लोगों पर लगाम कसने की व्यवस्था की जा रही है. यदि कोई व्यक्ति गलत दस्तावेज देकर मोबाइल सिम हासिल और इस्तेमाल करता है तो उसे 3 साल की सजा और 50 लाख तक का जुर्माना हो सकता है.

Union Communications Minister Ashwini Vaishnav ने बताया कि इसी तरह बहुत बड़ा फ्रॉड का एक और तरीका होता है 'सिम बॉक्स.' इसमें एक बॉक्स में बहुत सारे सिम लगा दिए जाते हैं, ऐसे शरारती तत्वों के लिए भी 3 साल की सजा और 50 लाख रुपए तक के जुर्माने का प्रावधान है. इसी तरह सॉफ्टवेयर के माध्यम से किसी व्यक्ति के मोबाइल नंबर का उपयोग करके अन्य व्यक्तियों से फ्रॉड करने वालों के लिए 3 साल की सजा और 50 लाख रुपए तक जुर्माने की सजा रखी गई है.

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