अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा ने अपने सहयोगियों से कहा है कि राष्ट्रपति जो बाइडेन की जीत मुश्किल है। द वॉशिंगटन पोस्ट ने गुरुवार (17 जुलाई) को अपनी रिपोर्ट में दावा किया कि ओबामा चाहते हैं कि बाइडेन राष्ट्रपति पद के लिए अपनी उम्मीदवारी छोड़ दें।
28 जून को प्रेसिडेंशियल डिबेट में डोनाल्ड ट्रम्प से बाइडेन की हार के बाद ओबामा ने सिर्फ एक बार उनसे बात की है। ओबामा ने दूसरों के साथ अपनी बातचीत में कहा है कि पार्टी से अगला राष्ट्रपति बनाने के लिए बाइडेन की उम्मीदवारी का फैसला अहम है।
ट्रम्प से डिबेट में हार के बाद बाइडेन को प्रेसिडेंशियल रेस बाहर करने की मांग पार्टी के भीतर बढ़ती जा रही है। अब इस लिस्ट में सबसे ताकतवर डेमोक्रेट ओबामा का नाम भी जुड़ गया है, जबकि वे बाइडेन के सबसे बड़े पैरोकार रहे हैं। प्रतिनिधिसभा की स्पीकर रहीं नैंसी पेलोसी ने भी कहा, बाइडेन अब चुनाव के मैदान से हट जाएं।
एपी, एनओआरसी सर्वे के मुताबिक, 65% डेमोक्रेटिक वोटर भी बाइडेन के खिलाफ हैं। सिर्फ 35% डेमोक्रेट्स चाहते हैं कि बाइडेन चुनाव लड़ें। 67% श्वेत वोटर चाहते है कि बाइडेन अपनी उम्मीदवारी वापस लें। अमेरिका की कुल 33 करोड़ आबादी में से 60% श्वेत वोटर हैं।
इस हफ्ते के अंत तक बाइडेन के मैदान से हटने के आसार
हाई वोल्टेज ड्रामे में तब्दील हुआ अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव बाइडेन के लिए सियासी कॅरियर के अंत का काउंट डाउन साबित हो रहा है। राष्ट्रपति जो बाइडेन की खराब सेहत, अपनी ही डेमोक्रेटिक पार्टी में ढीली होती पकड़ और पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के सामने उखड़ते पांव... कुल मिलाकर बाइडेन अब मैदान से हटते नजर आ रहे हैं।
पार्टी के नेताओं और सहयोगियों की तरफ से बढ़ते दबाव के कारण राष्ट्रपति बाइडेन इस सप्ताह के अंत तक अपनी उम्मीदवारी वापस ले सकते हैं। अमेरिकी न्यूज वेबसाइट एक्सियोस ने डेमोक्रेटिक पार्टी के कई सीनियर नेताओं के हवाले से ये जानकारी दी।
गुरुवार (18 जुलाई) को 82 साल के बाइडेन के कोरोना पॉजिटिव होने की भी खबर सामने आई। व्हाइट हाउस ने बताया कि वे आइसोलेशन में रहकर काम करेंगे। बाइडेन ने कोरोना पॉजिटिव होने से एक दिन पहले कहा था कि अगर डॉक्टर उन्हें अनफिट घोषित करते हैं तो वे राष्ट्रपति चुनाव की रेस से बाहर हो जाएंगे।
ट्रम्प के सामने कमला हैरिस संभव, भारतवंशी-महिला होने का फायदा
बाइडेन की जगह राष्ट्रपति पद के लिए उपराष्ट्रपति कमला देवी हैरिस (59) ट्रम्प के खिलाफ डेमोक्रेटिक पार्टी की फ्रंट रनर बनकर उभरी हैं। राजनीतिक विश्लेषक टोनी एडम के अनुसार अब डेमोक्रेट्स के पास कमला का कोई विकल्प नहीं है।
कमला के पक्ष में सबसे बड़ा फैक्टर उनका भारतवंशी, अश्वेत और महिला होना है। ये सब डेमोक्रेटिक पार्टी का सबसे बड़ा वोटबैंक है। चार साल तक उपराष्ट्रपति रहने के कारण कमला को खासा प्रशासनिक अनुभव हो गया है।
कमला पूर्व में वे अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट में अटॉर्नी रह चुकी हैं। कमला ने अपना कार्यकाल लो प्रोफाइल रहकर गुजारा है। इससे डेमोक्रेटिक पार्टी में उनके विरोधी कम और समर्थक ज्यादा हैं।
डेमोक्रेट्स को प्रत्याशी बदलने पर जल्द फैसला करना होगा, चंदे में ट्रम्प आगे हुए
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