उदयपुर: हर साल की तरह इस बार भी उदयपुर पुलिस लाइन में होली उत्सव के लिए गुलाल और रंगों की व्यवस्था की गई थी, लेकिन इस बार माहौल सूना रहा। राजस्थान पुलिसकर्मियों ने वेतन विसंगति और पदोन्नति में भेदभाव को लेकर इस साल होली का बहिष्कार किया।
पुलिसकर्मियों ने नहीं खेली होली
- आमतौर पर होली के अगले दिन पुलिसकर्मी ड्यूटी से फ्री होकर त्योहार मनाते हैं, लेकिन इस बार उन्होंने सोशल मीडिया अभियान के जरिए बहिष्कार की घोषणा की थी।
- सूरजपोल थाना समेत कई पुलिस थानों में होली की कोई तैयारी नहीं की गई और पुलिसकर्मी अपनी ड्यूटी पर तैनात रहे।
- पुलिस लाइन के ग्राउंड में हर साल की तरह गुलाल और रंग सजाए गए, लेकिन वहां कोई पुलिसकर्मी होली खेलने नहीं पहुंचा।
क्या है बहिष्कार की वजह?
राजस्थान पुलिसकर्मियों को वेतन विसंगति और डीपीसी (विभागीय पदोन्नति समिति) से जुड़े भेदभाव को लेकर लंबे समय से नाराजगी है।
- पदोन्नति के बाद भी अन्य विभागों की तुलना में वेतनमान कम रहता है, जिससे पुलिसकर्मी खुद को उपेक्षित और आर्थिक रूप से कमजोर महसूस करते हैं।
- वेतन विसंगति की तुलना:
- सिपाही का प्रारंभिक वेतनमान: ₹5200-₹20200 (ग्रेड पे ₹1900)
- पटवारी की पहली पदोन्नति ग्रेड पे: ₹3200
- कनिष्ठ लिपिक की ग्रेड पे: ₹2400
- सिपाही की पदोन्नति के बाद ग्रेड पे: सिर्फ ₹2000
- 27 साल की सेवा के बाद:
- तहसीलदार की ग्रेड पे ₹4200
- कार्यालय अधीक्षक की ग्रेड पे ₹3600
- उपनिरीक्षक की ग्रेड पे ₹3600
सरकार से न्याय की अपील
पुलिसकर्मियों ने होली का बहिष्कार कर सरकार से अपनी मांगों पर ध्यान देने की अपील की है। हालांकि, कुछ पुलिसकर्मियों में अब भी संशय की स्थिति बनी हुई है, और सभी खुलकर विरोध नहीं जता रहे हैं।