जयपुर – राजस्थान की राजनीति एक बार फिर गर्मा गई है। पूर्व राज्य मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर जल जीवन मिशन (JJM) योजना में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाए हैं।
गुढ़ा ने कहा कि प्रदेश में पानी और बिजली की समस्या चरम पर है। पानी की जरूरतों को पूरा करने के लिए केंद्र सरकार की जल जीवन मिशन योजना के तहत "घर-घर नल" योजना लाई गई, लेकिन इसमें **भ्रष्टाचार की गंगोत्री बहाई गई।"
राजेंद्र गुढ़ा ने आरोप लगाया कि जल जीवन मिशन के कार्यों को मंजूरी देने की प्रक्रिया में सरकारी नियमों की अनदेखी की गई। उन्होंने दावा किया कि एक ही दिन में सारी फाइलें क्लियर कर दी गईं, और इस घोटाले का मुख्य लाभार्थी अशोक गहलोत रहे।
"इस योजना में मलाई किसी और ने नहीं, खुद गहलोत साहब ने खाई है। भ्रष्टाचार इस कदर था कि एक ही दिन में दर्जनों फाइलें बिना जांच के पास कर दी गईं," – राजेंद्र गुढ़ा
राजेंद्र गुढ़ा ने कहा कि जब प्रदेश में लोग बूंद-बूंद पानी को तरस रहे हैं, तब सरकारी फंड्स की बंदरबांट शर्मनाक है। उन्होंने पूछा कि आखिर सैकड़ों करोड़ रुपए खर्च होने के बावजूद लोगों तक नल क्यों नहीं पहुंचे?
यह पहली बार नहीं है जब गहलोत सरकार पर जल जीवन मिशन में भ्रष्टाचार के आरोप लगे हों। इससे पहले भी विपक्ष और कई सामाजिक संगठनों ने योजना की पारदर्शिता पर सवाल उठाए हैं।
राजेंद्र गुढ़ा के इस हमले को आगामी चुनावों के मद्देनजर राजनीतिक रूप से अहम माना जा रहा है। उनकी इस टिप्पणी से कांग्रेस के भीतर भी खलबली मच सकती है।
राजेंद्र गुढ़ा के बयान ने राजस्थान की राजनीति में एक नया विवाद छेड़ दिया है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि कांग्रेस और अशोक गहलोत इस आरोप का क्या जवाब देते हैं, और क्या इस मुद्दे पर कोई जांच या कार्रवाई होती है।
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